आशाग्राम ट्रस्ट बने चार दशक होने को है जहां बहुतायात से जिले में सहज ही देखे जाने वाले कुष्ठ रोगियों की संख्या में आशाजनक कमी आई है वहीं लोग अब प्राथमिक स्तर पर ही कुष्ठरोग के प्रति सजग होकर ग्राम की आशा, एएनएम से उपचार कराने के लिए आगे आने लगे है, अपवाद ही सही लेकिन सही समय पर दी गई दवाईयों का सेवन नहीं करने के कारण सामान्य कुष्ठरोग भयानक विक्रती का रूप ले लेता है ऐसी ही विक्रती वाले 84 वर्षीय वयोवृद्ध श्री अमरसिंग जो कि पाटी विकासखण्ड के ग्राम किराड़िया के निवासी है को जब परिजन आशाग्राम लेकर आए तो उसके दोनो हाथ व पैर बिमारी की चपेट में आ चुके थे जिसे ट्रस्ट के सचिव डॉ. शिवनारायण यादव के द्वारा तत्काल जिला कुष्ठ उपचार केन्द्र में पंजीकृत करवाकर चिकित्सीय परिक्षण पश्चात उपचार आरंभ करवाया गया। इस दौरान ट्रस्ट द्वारा मरीज को आश्रय प्रदान कर समुचित व्यवस्थाऐं प्रदान की गई। इस अवसर पर ट्रस्ट के श्री सचिन दुबे, हिमांशु वाबले, अमित भावरे आदि उपस्थित थे।
बड़वानी/1983 से अंचल के बहु कुष्ठ विकृति वाले मरीजों का आश्रय है आशाग्राम